तालिबानियों को मिले US के हथियार और हुए मजबूत, पाक पर कर रहे लगातार हमले

काबुल

बीते करीब एक साल में पाकिस्तान में आतंकवादी हमलों में इजाफा हुआ है। खैबर पख्तूनख्वा से लेकर सिंध और पंजाब तक में काफी हमले हुए हैं। अब एक रिपोर्ट में कहा गया है कि अफगानिस्तान से गए अमेरिकी सैनिकों के छूटे हुए हथियार तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान के हाथ लग गए हैं। इनका ही इस्तेमाल करते हुए वे घातक अटैक कर रहे हैं। रेडियो फ्री यूरोप/रेडियो लिबर्टी की एक रिपोर्ट में यह बात कही गई है। रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिकी हथियार मिलने से तालिबान और घातक हो गया है। उसके लड़ाकों की क्षमता बढ़ गई है।

रिपोर्ट के मुताबिक बीते दो सालों में पाकिस्तान में जो आतंकी हमले बढ़े हैं, उसकी यही वजह है। तालिबान के अलावा पाकिस्तान में अलगाववादी संगठन बलोच आर्मी के हाथों में भी इन हथियारों के पहुंचने की बात कही जा रही है। दरअसल अमेरिका ने 14 अगस्त 2021 को अफगानिस्तान से निकलने का फैसला लिया था। तब उसकी सेना 7 अरब डॉलर के हथियार और गोला-बारूद अफगानिस्तान छोड़कर गई थी। इन हथियारों में बंदूक, विस्फोटक सामग्री, बख्तरबंद गाड़ियां और ग्रेनेड आदि शामिल हैं।

इनके तालिबान के हाथ लग जाने से वह कहीं ज्यादा मारक हो गया है। अमेरिकी सैनिकों की वापसी के दौरान ही तालिबान ने इन पर कब्जा जमा लिया था। इन्हीं हथियारों की एक बड़ी खेप तस्करी के जरिए पाकिस्तान पहुंची है और टीटीपी को भी इसका बड़ा हिस्सा मिल गया है। अब इन हथियारों का इस्तेमाल तालिबान पाकिस्तानी सरकार के खिलाफ कर रहा है। कुछ जगहों पर तो भीषण हमले हुए हैं, जैसे पिछले दिनों ही पेशावर के पुलिस लाइन इलाके में स्थित मस्जिद में हमला हुआ था। इस आतंकी हमले में करीब 100 लोगों की मौत हो गई थी।

आधुनिक हथियारों से लैस तालिबान से निपटना बना मुश्किल

तहरीक-ए-तालिबान पाकिस्तान पर नजर रखने वाले एक रिसर्चर ने कहा कि इन हथियारों के आतंकवादियों के हाथ लगने से उनकी ताकत बढ़ गई है। पाकिस्तान की पुलिस फोर्स के पास हथियारों की कमी है और तालिबान के हाथ अमेरिकी हथियार लगने से उसकी ताकत बढ़ गई है। ऐसी स्थिति में आधुनिक हथियारों से लैस तालिबान से निपटना पाक के सुरक्षा बलों के लिए मुश्किल भरा हो गया है।